मंदिर का शिल्प-जैसलमेर के सुनहरी पीतवर्ण पाषाण में निर्मित श्री चिंतामणि पाश्र्वनाथ का यह भव्य कलात्मक जिन मंदिर अपने आप में अनपुम एवं अनूठा है। जैन शिल्प शास्त्र के अनुसार, इस मंदिर की शिल्प की योजना, भारत के सुप्रसिद्ध सोमपुरा श्री अमृतभाई त्रिवेदी के पौत्र श्री वीरेन्द्र भाई के कुशल संयोजन में बनाई गई। मंदिर की प्रतिष्ठा के आठ वर्ष के उपरांत भी इस मंदिर के रूप एवं नक्कासी सज्जा का कार्य अनवरत रूप से चल रहा है। जिसमें मंदिर की कलात्मकता में और भी निखार आता रहेगा।